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कृषि क्षेत्र की उन्नति के लिए तकनीक को खेत तक पहुंचाना आवश्यक : डॉ. शांडिल

By Sandhya Kashyap

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सोलन : स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता तथा श्रम एवं रोज़गार मंत्री कर्नल डॉ. धनीराम शांडिल ने कहा कि आधुनिक युग में कृषि क्षेत्र को उन्नत बनाने के लिए तकनीक को खेत तक पहुंचाया जाना आवश्यक है। डॉ. शांडिल आज सोलन ज़िला के कण्डाघाट में राष्ट्रीय कृषि उच्च शिक्षा परियोजना के अंतर्गत कृषि विज्ञान केंद्र में एग्री फेस्ट (बागवानी एवं वानिकी शिक्षा मेला) को सम्बोधित कर रहे थे।

डॉ. शांडिल ने कहा कि हमारा राज्य एक कृषि प्रधान राज्य है। आधुनिक युग में विज्ञान ने कृषि क्षेत्र को सुलभ और उपज में वृद्धि के लिए कई आविष्कार किए हैं। उन्होंने कहा कि यह उन्नत तकनीक जब तक खेतों तक नहीं पहुंचेंगे तब तक किसान लाभान्वित नहीं हो सकता। उन्होंने कहा कि इस दिशा में कृषि वैज्ञानिकों और तकनीक के जानकारों को मिलकर कार्य करना होगा।

स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि कृषि क्षेत्र में व्यावसायिक एवं योजनाबद्ध कार्य से आत्मनिर्भर बनकर आर्थिकी को मज़बूत बनाया जा सकता है। तकनीक के विकास से कृषि क्षेत्र में रोज़गार की अपार संभावनाएं सामने आई हैं। उन्होंने कहा कि डॉ. यशवंत सिंह परमार बागवानी एवं वानिकी विश्वविद्यालय नौणी को वर्षों की मेहनत से अर्जित कृषि तकनीक के ज्ञान को गांव-गांव तक पहुंचना चाहिए ताकि कृषकों को इसका लाभ मिल सके। उन्होंने कहा कि शीघ्र ही सोलन सब्जी मण्डी में स्थानीय स्तर पर उत्पादित कृषि, बागवानी एवं अन्य उत्पादों की बिक्री के लिए विक्रय केन्द्र खोला जाएगा ताकि कृषक लाभान्वित हो सकें।  

स्वास्थ्य मंत्री ने इस अवसर पर प्रदर्शनी लगाने वाले तथा सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत करने वाले स्कूली बच्चों को सम्मानित किया। उन्होंने सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत करने वाले बच्चों को अपनी ऐच्छिक निधि से 21 हजार रुपए देने की घोषणा की।
डॉ. यशवंत सिंह परमार बागवानी एवं वानिकी विश्वविद्यालय नौणी के उप कुलपति प्रो. राजेश्वर सिंह चंदेल ने इस अवसर पर कहा कि पूर्व में हल द्वारा की जानी वाली कृषि अब कृषि आधुनिक यंत्रों के माध्यम से हो रही है। उन्होंने कहा कि कृषि क्षेत्र में युवाओं के लिए रोज़गार के भरपूर अवसर उपलब्ध हैं।

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कृषि महोत्सव में 20 विद्यालयों के लगभग 250 बच्चों ने भाग लिया। एग्री फेस्ट का उद्देश्य बच्चों को पढ़ाई के साथ-साथ कृषि एवं बागवानी के क्षेत्र की जानकारी प्रदान करना है। कृषि महोत्सव में स्कूली बच्चों और प्रगतिशील किसानों को उन्नत खेती के बारे में भूमि की तैयारी, बीज बोने से लेकर पौधों के पोषण, सुरक्षा और कटाई के बाद भूमि की उर्वरा शक्ति को बनाएं रखने के बारे विशेषज्ञों द्वारा जानकारी दी गई।  

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धारों की धार के प्रगतिशील किसान उद्यमी करण सिंह ठाकुर तथा एमेजॉन सीड्स के संस्थापक उमेश महाजन ने छात्रों को कृषि-बागवानी उद्यम स्थापित करने के बारे में अपने अनुभव साझा किए। इस अवसर पर विभिन्न स्कूलों द्वारा ‘भारतीय कृषि-कमी से अधिशेष तक की यात्रा’ विषय पर प्रदर्शनी का आयोजन भी किया गया।