नाहन : जिला एवं सत्र न्यायाधीश सिरमौर के आदेश के बाद रेणुका बांध प्रबंधन हरकत में आ गया है। बांध प्रबंधन ने भू-अर्जन अधिकारी (एलएओ) को संबंधित भू-मालिकों को 15 दिनों के भीतर राशि का भुगतान करने के निर्देश दिए हैं। बताया जा रहा है कि यह राशि भू-अर्जन अधिकारी शिमला की ओर से ही विस्थापितों को दी जानी है। इसको लेकर बांध प्रबंधन ने विशेष तौर पर भू-अर्जन अधिकारी को ई मेल भेजकर संबंधित भू-मालिकों की राशि अदा करने को कहा है।
बांध परियोजना के महाप्रबंधक एमके कपूर ने बताया कि एलएओ को 15 दिन में राशि जमा कराने के आदेश दे दिए हैं। अदालत के फैसले का सम्मान करते हुए दो जनवरी से पूर्व तमाम राशि विस्थापितों को चेक के माध्यम से अदा की जाएगी।
उल्लेखनीय है कि जिला एवं सत्र न्यायाधीश की अदालत ने बीते शुक्रवार को रेणुका बांध प्रबंधन की संपत्ति अटैच करने के आदेश दिए हैं। यह राशि 42 करोड़ के करीब आंकी गई है। इसका भुगतान बांध प्रबंधन विस्थापितों को नहीं कर पाया है।
विस्थापितों ने इस मामले को अदालत में चुनौती देने के साथ ही अपनी राशि का भुगतान करने की मांग की थी। मामले की पैरवी अधिवक्ता एमपी कंवर ने की। अदालत ने फैसले की सुनवाई के दौरान रेणुका बांध प्रबंधन को लेटलतीफी के लिए फटकार लगाते हुए तमाम संपत्ति अटैच करने के आदेश जारी किए। लिहाजा, बांध प्रबंधन अगले ही दिन हरकत में आ गया।
बांध परियोजना के महाप्रबंधक एमके कपूर ने बताया कि एलएओ से संपर्क साध कर आगामी दो सप्ताह के भीतर यह राशि संबंधित विस्थापितों को अदा करने को कह दिया गया है।