भूमि कटाव को देखकर विकास खण्ड अधिकारी गौरव धीमान का पसीजा सीना, बरसात से पहले खड्ड के किनारे गली प्लग व वायरक्रेट लगाने के दिए आदेश
नेड़ा खड्ड के साथ लगती जमीन में लगातार लग रहा भूमि कटाव, सेकडों बीघा जमीन चढ़ चुकी है बरसाती जल में कटाव की भेंट
शिलाई: विधानसभा शिलाई के नेड़ा खड्ड में पानी से लग रहें लगातार भूमि कटाव, सत्ताधारी सरकार सहित विपक्ष पर दशकों से सवालिया निशान लगा रहा है दशकों से प्रशासन भी मामले को अनदेखा करता नजर रहा है लेकिन पंचायत वासियों की बार बार अपील करने के बाद विकास खण्ड अधिकारी पावटा साहिब ने मोका का दौरा करके लोगों को भूमि कटाव से निजात दिलाने का आशवासन दिया है साथ ही सम्बन्धित पंचायतों को प्राथमिकता से नेड़ा खड्ड के किनारे गली प्लग, वायर्क्रेट लगाने के आदेश जारी किये है अब पंचायतें अधिकारीयों के आदेशों को कितना गंभीरता से लेती है इस बात को आनेवाली बरसात में लगने वाले भूमि कटाव साफ़ कर देंगे! बैरहाल विकास खण्ड अधिकारी के आश्वासन से ग्रामीणों को आस बंधी है कि उपजाऊ भूमि अब कटाव कि भेंट चढने से बच जाएगी!
हिन्दुस्तान की आजादी होकर लगभग 7 दशक से अधिक समय हो गया है क्षेत्र वासियों की उपजाऊ भूमि में नेड़ा खड्ड के पानी से लगने वाला भूमि कटाव समस्या इससे भी पुरानी है क्षेत्रीय लोगों ने वर्तमान व पूर्व विधायकों सहित जिला व प्रदेश सरकार को सेकडों बार भूमि कटाव की जवलंत समस्या से अवगत करवाया है पंचायत प्रस्ताव भी कई बार सरकार को भेजें, परंतु टिम्बी पुल से लेकर तमसा नदी तक लगभग लगभग 20 किलोमीटर लम्बे नेड़ा खड्ड के दायरे में पानी से उपजाऊ भूमि पर लगने वाले कटाव को रोकने की जहमत किसी ने नहीं उठाई है! जिसके कारण हरवर्ष लगभग 70 से 100 बीघा जमीन कटाव लगने से खण्ड की भेंट चढ़ रही है अधिकांश लोगों ने अब अपनी जमीनों की देखरेख करना ही छोड़ दिया है तथा घर का गुजरा करने के लिए क्षेत्र से बहार मजदूरी करने लगे है!
क्षेत्रीय पंचायत वासियों में सुरेंद्र चौहान, कपिल चौहान, नाटी स्टार अजय चौहान, रमेश खण्डवान, रघुवीर सिंह, सुंदर सिंह, जगदीश सिंह बतातें है कि नेडा खड्ड खारियाड में हर साल होने वाले भूमि कटाव का सिलसिला थम नही रहा है क्षेत्र वासियों की उपजाऊ भूमि कटाव की भेंट चढ़ रही है भूमि कटाव के कारण दर्जनों बीघा से अधिक भूमि बंजर हो गई है दर्जनों परिवार बेघर हो गए है शिल्ला गॉव के लगभग 150 परिवार धान, गेंहू, प्याज़, लहसुन की फसल लगाया करते थे लेकिन लगातार हो रहे भूमि कटाव के कारण उपजाऊ भूमि बह गई है। बची जमीन पर लोगो ने डर से खेती करना छोड़ दिया है। जो भूमि बची हुई है, वह खतरे की जद में है तथा आने वाली बरसात में बह सकती है ऐसे में प्रशासन ठोस कदम नही उठाता तो किसानों को अपनी भूमि से हाथ धोने पड़ सकते हैं। ऐसे में गाँव के किसानों ने विकास खंड अधिकारी से मदद की गुवाहर लगाई है ताकि उनकी उपजाऊ जमीन बच सके!
उलीख्नीय है कि नेड़ा खड्ड में आजादी के बाद ऐसा पहली बार हुआ है जब कोई अधिकारी लोगों की समस्याओं को देखने पंहुचा हो, क्षेत्रीय लोगों ने जहाँ पावटा साहिब विकास खण्ड अधिकारी का आभार व्यक्त किया है वही गौरव धीमान ने समूचे क्षेत्र का दौरा करके सुन्दर वादीयों की तारीफ़ की है तथा लोगों की समस्याओं के समाधान को पंख लगाए है नेड़ा खड्ड के साथ साथ यदि सड़क सुविधा व अन्य मुलभुत सुविधाओं के समाधान के लिए शासन व प्रशासन प्रयास करें तो दर्जनों स्थानों को खड्ड के किनारे पर्यटन की दृष्टि से उभरा जा सकता है जिससे जहाँ रोजगार के अवसर खुलेंगे वही लोगों की बंजर हुई जमीन उपजाऊ हो जाएगी!
विकास खण्ड अधिकारी पावटा साहिब गौरव धीमान ने बताया कि विधानसभा शिलाई व विकास खण्ड पावटा साहिब के अंतिम छोर से नेड़ा खड्ड बहता है तथा बरसात में काफी उफान पर होता है क्षेत्रीय लोगों की उपजाऊ जमीन खड्ड के कटाव की भेंट चढ़ी है मोका का निरिक्षण करने के बाद लोगों की जवलंत समस्या का पता चल पाया है इसलिए भूमि कटाव रोकने के लिए सम्बन्धित पंचायतों को आदेश दिए गए है कि पंचायते जल्द भूमि कटाव के लिए गली प्लग व वायरक्रेट का निर्माण करवाएं, जवलंत समस्या को लेकर विभागीय कनिष्ट अभियंता जल्द एस्टीमेट तेयार करके कार्यालय को प्रेषित करें ताकि बजट का प्रावधान करके बरसात से पहले बची हुई जमीन को कटाव से बचाया जा सकें!